सुरकोटड़ा, धौलावीरा एवं सुत्कागेनडोर


सुरकोटड़ा:

۞    गुजरात राज्य के कच्छ क्षेत्र में यह स्थल स्थित है।
۞    इस स्थल की खोज 1964 में जगपति जोशी ने की थी।
۞    यहां से हड़प्पा सभ्यता के पतन के अवशेष परिलक्षित होते हैं।
۞    यहां से घोड़े की हड्डी के अवशेष मिले हैं।
۞    यह स्थल हड़प्पा के विदेश व्यापार का केन्द्र था।
۞    कलश शवाधान के साक्ष्य यहां से मिले हैं।
۞    यह स्थल पत्थर के टुकड़ों की दीवार से घिरा हुआ था।
۞    ऊपर से कब्र को पत्थर से ढकने का साक्ष्य यहां से मिला है।
۞    तराजू का पलड़ा यहां से मिला है।



धौलावीरा:

۞    गुजरात राज्य के कच्छ जिले में धौलावीरा स्थित है।
۞    यह नगर हड़प्पा सभ्यता के सबसे बड़े नगरों में से है।
۞    अन्य हड़पाई स्थल के विपरित धौलावीरा नगर तीन खंडों में विभाजित है।
۞    यहां भव्य प्रवेश द्वार के साथ सुरक्षा प्रहरी का कमरा भी मिला है।
۞    इस स्थल से एक लम्बा जलाशय उत्खनन के द्वारा खोजा गया है।



सुत्कागेनडोर:

۞    पाकिस्तान के बलुचिस्तान प्रान्त में दाश्क नदी पर सुत्कागेनडोर स्थित है।
۞    यह स्थल हड़प्पा सभ्यता के पश्चिमी सीमा का निर्धारण करता है।
۞    बंदरगाह के अस्तित्व का पता यहां से चला है।
۞    ताम्बे की कुल्हाड़ी का साक्ष्य यहां से मिला है।
۞    सुत्कागेनडोर में बेबीलोन से व्यापारिक संबंध का साक्ष्य मिला है।
۞    यहां से माव भस्म रखा एक बर्तन मिला है।
۞    परिपक्व हड़प्पा संस्कृति के अवशेष यहां से मिले हैं।

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